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एशेज के पहले मैच के बाद ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड पर आईसीसी ने लगाया जुर्माना, WTC के पॉइंट भी काटे, जानिए वजह

 

एशेज के पहले मैच के बाद ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड पर आईसीसी ने लगाया जुर्माना, WTC के पॉइंट भी काटे, जानिए वजह


इस वक्त इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया के बीच एजबेस्टन में एशेज सीरीज खेली जा रही है, जिसमें दोनों ही टीमों को भारी नुकसान हुआ है. दरअसल स्लो ओवर रेट के चलते आईसीसी ने दोनों ही टीमों पर 40% मैच फीस के साथ वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप के 2-2 प्वाइंट्स भी काटे गए हैं.


आपको बता दें कि इस साल की एशेज सीरीज का पहला टेस्ट जीतकर ऑस्ट्रेलिया ने वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप प्वाइंट्स टेबल में 12 अंकों के साथ खाता खोला था, लेकिन अब उसकी केवल 10 अंक रह गए हैं. वहीं इंग्लैंड के खाते में -2 अंक हैं.

दोनों टीमों का हुआ भारी नुकसान

मैच रेफरी के हवाले ये बताया गया कि दोनों टीमें तय समय से 2 ओवर पीछे चल रही जिस वजह से उन पर यह जुर्माना लगाया गया. इंग्लैंड के कप्तान बेन स्टोक्स और ऑस्ट्रेलिया के कप्तान पैट कमिंस ने प्रतिबंधों को स्वीकार किया है, यानी कि अब औपचारिक सुनवाई की कोई आवश्यकता नहीं है.



आपको बता दें कि आईसीसी के आचार संहिता अनुच्छेद 2.22 के तहत कोई टीम स्लो ओवर रेट का दोषी पाए जाती है तो उनके खिलाड़ियों पर प्रत्येक ओवर के लिए 20% मैच फीस का जुर्माना लगाया जाता है.

बेहद रोचक है मुकाबला

वही अनुच्छेद 16. 11. 2 के अनुसार वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप में स्लो ओवर रेट का दोषी पाए जाने वाली टीम का प्रत्येक ओवर के लिए 1 पॉइंट भी काटा जाता है. अगर मौजूदा समय में दोनों टीमों के बीच चल रही एशेज सीरीज की बात करें तो इंग्लैंड ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 393 रन पर पारी घोषित कर दी थी.



इस स्कोर के सामने ऑस्ट्रेलियाई टीम 386 रनों पर सिमट गई और इंग्लैंड में 7 रनों की बढ़त हासिल की. इसके बाद ऑस्ट्रेलियाई टीम ने दूसरी पारी में 273 रन बनाकर कंगारू के सामने जीत के लिए 281 रन का लक्ष्य रखा. अभी मजबूती से यह मुकाबला दोनों टीमों के बीच खेला जा रहा है, जहां हार और जीत का फैसला करना मुश्किल है.



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आखिरकार 34 साल के गब्बर को छोड़ना पड़ा देश का साथ, इस देश के लिए अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट खेलने को है मजबूर!


इस वक्त टीम इंडिया (Team India) में जिस तरह से में कड़ा कंपटीशन का दौर चल रहा है, इस कारण कई ऐसे खिलाड़ी को भी मौका नहीं दिया जा रहा है जो इसके पूरे हकदार हैं. कई ऐसे खिलाड़ी हैं जो अपने शानदार कमाल से पूरी दुनिया में अपना परचम लहरा रहे हैं. कुछ खिलाड़ी ऐसे भी हैं जो भारत में पैदा हुए और शुरुआती क्रिकेट भारत में खेले लेकिन बाद में उन्हें भारत छोड़कर विदेश जाना पड़ा.

वही कुछ क्रिकेट ऐसे भी हैं जो पैदा भारत में हुए लेकिन अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट खेलने के लिए अन्य देश चले गए. आज हम आपको एक ऐसे ही क्रिकेटर की कहानी बताने जा रहे हैं जो कभी टीम इंडिया का हिस्सा हुआ करते थे लेकिन अब किसी और देश के लिए खेल रहे हैं.

क्रिकेट के साथ-साथ करते थे सरकारी नौकरी

हम जिस खिलाड़ी की बात कर रहे हैं वह कोई और नहीं जतिंदर सिंह है, जिनका जन्म पंजाब के लुधियाना में हुआ था. उनके पिता एक कारपेंटर थे और 1975 में वह लुधियाना से ओमान चले गए थे. ओमान की इंडियन स्कूल क्रिकेट टीम का वह हिस्सा बन गए. इसके बाद साल 2007 में वह ओमान की ओर से खेलने वाले सबसे युवा खिलाड़ी बने थे, जिन्होंने साल 2015 में अंतरराष्ट्रीय डेब्यू भी किया था.उस वक्त वह क्रिकेट खेलने के साथ-साथ सरकारी नौकरी भी किया करते थे. एक इंटरव्यू में उन्होंने बताया कि जब मैं भारत में रहता था तभी गली क्रिकेट खेला करता था. मुझे सचिन तेंदुलकर और वीरेंद्र सहवाग को देखना पसंद था.

शौक के लिए खेलते और पैसे के लिए करते थे नौकरी

उनके मानना था कि मस्कट में कॉरपोरेट लेवल पर और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी खिलाड़ियों को इतना पैसा नहीं मिलता है. साल 2004 में उन्होंने खीमजी इंडस्ट्री में नौकरी करने के साथ क्रिकेट खेलना शुरू किया. सुबह से शाम तक वह काम करते थे. उसके बाद में प्रैक्टिस सेशन में हिस्सा लेते थे. इस खिलाड़ी को गब्बर इसलिए कहा जाता है क्योंकि वह विकेट लेने के साथ ही टीम इंडिया (Team India) के गब्बर कहे जाने वाले शिखर धवन की तरह सेलिब्रेशन करते थे.





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